इन्वर्टर बैटरी में पानी डालने का तरीका | lead acid battery maintenance
परिचय
इस पोस्ट में हम बात करेंगे कि जो लेड एसिड बैटरी होती है, उसकी बिना ज्यादा जानकारी के घर पे ही बैटरी की मेंटेनेंस कैसे कर सकते है। जैसे कि उसमें हमें पानी डालने की जरूरत क्यों पड़ती है और उसमें हम कौन सा पानी डाल सकते हैं। इसके अलावा हमें लेड एसिड बैटरी में पानी डालते समय कौन सा प्रोसीजर फॉलो करना चाहिए और कौन से काम हमें नहीं करने चाहिए इसके अलावा इन्वर्टर बैटरी में पानी डालने का तरीका, lead acid battery maintenance, battery maintenance, battery maintenance tips, battery maintenance checklist, What five steps are done during battery maintenance, Exide battery maintenance distilled water, battery maintenance in Hindi इन सभी के बारे में भी हम जाने वाले हैं। तो इन सभी के बारे में जानने के लिए हमारे इस पोस्ट को शुरू से लेकर लास्ट तक पढ़ते रहिए।
Battery Me Kon Sa Pani Dale | बैटरी में पानी कौन सा डालें
अगर लेड एसिड बैटरी में पानी ना डाला जाए तो इसकी एफिशिएंसी बहुत ही कम हो जाएगी। इसके साथ लेड एसिड बैटरी की लाइफ में बहुत कम हो जाती है। और इसका बैकअप भी बहुत कम हो जाता है। इसके अलावा इनवर्टर में पावर का नुकसान यानी लॉस बहुत ज्यादा होने लगेगा। तो अब आपको बताते हैं कि लेड एसिड बैटरी में पानी कब डालना चाहिए और पानी किस तरीके से डालना चाहिए।
पानी डालने का तरीका
ज्यादातर मामलों में हम देखते हैं, जब भी घर पर कोई बैटरी में पानी डालने लगता है, तो वह अपने घर से स्टील वाले गिलास या मग में पानी को डालकर बैटरी में डालने लगते हैं। और पहले वह इनवर्टर या फिर सोलर कंट्रोलर इन दोनों के जो तार बैटरी से कनेक्ट है उनको नही हटाते। यह एक बहुत ही बड़ी गलती है। बहुत बार बैटरी में पानी डालते वक्त, बैटरी में या तो धमाका हो सकता है या फिर बैटरी पानी डालने वाले इंसान को करंट लग सकता है।
धमाका होने का एक मुख्य कारण यह होता है, कि बैटरी काफी दिनों से इस्तेमाल हो रही होती है, तो उसमें जो पानी और एसिड होता है उसके कारण बैटरी में गैस बन जाती है। तो एकदम से जब हम बैटरी में पानी डालने के लिए ढक्कन को खोलते हैं तो हलचल होने से बैटरी में धमाका हो जाता है। तो लेड एसिड बैटरी में पानी डालने से पहले हमें आधे घंटे से 1 घंटे पहले बैटरी को बिल्कुल फ्री कर देना चाहिए। यानी कि पानी डालने से पहले बैटरी को ना तो चार्ज करना है, और ना ही हमें उसमें से इन्वर्टर के द्वारा पावर लेनी है।
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इसके लिए बैटरी में लगे जितने भी तार लगे हैं, उनको बैटरी से हटा देना चाहिए। जैसे कि इनवर्टर के चार्जिंग वाले तार और सोलर से आने वाले चार्जिंग की तार को भी हमें आधे घंटे से 1 घंटे पहले बैटरी से बिल्कुल हटा देना है। इससे बैटरी अपनी नॉर्मल हालत में आ जाएगी और जब हम उस में पानी डालेंगे तो किसी भी प्रकार का कोई हादसा होने से बच जाए। बैटरी को इनवर्टर से डिस्कनेक्ट करने से पहले एक बात का जरूर ध्यान रखना चाहिए। कि जब भी हम बैटरी के तार इनवर्टर से हटाए तो, पहले हमें इनवर्टर का जो मुख्य तार है उसको मैन सप्लाई से डिस्कनेक्ट कर देना है।
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और उसके बाद अगर इनवर्टर चालू है तो इनवर्टर में लगे स्विच से इनवर्टर को बंद करना चाहिए। और उसके बाद जो बैटरी में दो तार लगे हैं -ve और +ve इन दोनों में से पहले हमें +ve वायर को हटाना चाहिए और उसके बाद हम -ve को हटाकर अपनी बैटरी को फ्री कर सकते हैं। जब बैटरी आधे से 1 घंटे के बाद अपनी नॉर्मल हालत में आ जाती है, तो उसके बाद हमें एक-एक करके बैटरी में जितने भी ढक्कन लगे हैं उन सभी को खोल बैटरी में पानी डाल देना चाहिए।
लेड एसिड बैटरी में पानी किस चीज से डालें।
अब ज्यादातर लोग यहीं पर सबसे बड़ी गलती करते हैं, जब भी वह पानी डालने लगते हैं, तो वे कोई भी स्टील का गिलास या मग ले लेते हैं, और उसमें पानी डालकर बैटरी में पानी डालने लगते हैं। यही सबसे बड़ी गलती होती है जब भी हम किसी भी धातु के गिलास या मग से बैटरी में पानी डालते हैं, तो एक बहुत ही बड़ा खतरा मोल ले लेते हैं।
क्योंकि ज्यादातर बैटरीयों के दोनों टर्मिनल नेगेटिव और पॉजिटिव पास पास होते हैं, तो अगर ऐसे में मेटल के गिलास या मग से पानी डालते हुए दोनों टर्मिनल आपस में अगर शॉट हो गए तो एक बड़ा धमाका हो सकता है। जिस से निकली चिंगारीओं से आप के घायल होने का भी खतरा है, और आपका जो गिलास या मग है वह तो खराब होगा ही, साथ मे आप की बैटरी भी टर्मिनल्स शार्ट होने के कारण खराब हो सकती है।
तो इससे बचने के लिए आप प्लास्टिक के गिलास या मग इस्तेमाल कर सकते हैं। कोशिश करें कि जो गिलास या मग आप इस्तेमाल कर रहे हैं, वह नोक वाला होना चाहिए जिससे पानी बैटरी के ऊपर ना गिरे सीधा पानी बैटरी के अंदर जाए। अगर नॉक वाला गिलास या मग ना मिले तो आप किसी प्लास्टिक के कीप का भी इस्तेमाल कर सकते हैं।
और अगर आपके पास नोक को वाला गिलास या कीप दोनों ही नहीं मिलते हैं, तो आजकल बाजार में मिलने वाले डिस्पोजेबल ग्लास जिनको कोल्डड्रिंक पीने में ज्यादा इस्तेमाल किया जाता है उनका इस्तेमाल भी बैटरी में पानी डालने के लिए कर सकते हैं। क्योंकि उनके फ्लेक्सीबल होने के कारण वह आसानी से बैंड हो जाएंगे और एक पतली धार से पानी सीधा बैटरी के अंदर ही जाएगा।
लेड एसिड बैटरी में कितना पानी डालें।
अब एक बात और ध्यान रखने वाली है आप लेड एसिड बैटरी के सभी सेल में बराबर मात्रा में पानी डालें। यानी पहले सेल में जितना पानी डाल है, दूसरे सेल में भी उतना ही पानी डालें। ऐसा करने के कारण बैटरी में जितने भी सेल है उन सभी में बराबर मात्रा में पानी जाएगा और किसी भी सेल में कम या ज्यादा पानी नहीं रहेगा। आपको ऐसे पता नहीं लग रहा है कि गिलास में बराबर पानी भरा जा रहा है या नहीं तो इसके लिए आप गिलास के ऊपर देख निशान लगा सकते हैं और उस निशान तक ही पानी भर के सभी सेल में बराबर से पानी डाल सकते हैं।
साथ ही लीड एसिड बैटरी में इतना पानी डालना चाहिए कि चार्जिंग के समय गैस बनने से पानी बाहर ना निकल पाए। लेड एसिड बैटरी के सेल में जो प्लेट लगी होती हैं, उन प्लेट से 1 सेंटीमीटर या आधा इंच ऊपर तक पानी होना चाहिए। इसके अलावा उन प्लेट से नीचे भी पानी नहीं जाना चाहिए। अगर प्लेट से नीचे पानी चला जाता है, तो तुरंत बैटरी में पानी डालने चाहिए।
लेड एसिड बैटरी में कौनसा पानी डालें?
आपके मन में यह सवाल आ रहा होगा कि बैटरी में कौन सा पानी डालना चाहिए तो इसके लिए भी हमने एक वीडियो बनाई है, और साथ में पोस्ट भी लिखी है इन दोनों के लिंक हम नीचे दे रहे हैं। यहां पर क्लिक करके आप जान सकते हो कि लेड एसिड बैटरी में पानी कौन सा डालना चाहिए।
वीडियो देखें:-
पोस्ट पढ़ें:-
बैटरी में पानी कब डालना चाहिए?
पानी बैटरी के लिए एक बहुत ही जरूरी चीज है, इसके बिना बैटरी ना तो ज्यादा दिन चल पाएगी और ना ही ज्यादा बैकअप दे पाएगी। तो इससे बचने के लिए कम से कम 2 या 3 महीने में बैटरी में एक बार पानी जरूर डाल देना चाहिए। इसके अलावा बैटरी के सभी सेल में पानी डालने चाहिए, अगर पानी डेल दिन एक सेल भी छूट गया तो भी बैटरी खराब हो जाएगी। बैटरी को सही से चलाने के लिए उसके सभी सेल में पानी डालना बहुत ही जरूरी है।
क्या लेड एसिड बैटरी में गर्म पानी डाल सकते हैं?
कुछ लोग पानी को बाजार से लाने के बजाए, अपने घर के पानी को ही गर्म करके बैटरी में डाल देते हैं। आपको ऐसी गलती में बिल्कुल भी नहीं करनी चाहिए, अगर बैटरी में गर्म पानी जाता है तो बैटरी को खराब होने में देर नहीं लगेगी। हम पानी के थोड़े से पैसे बचाने के चक्कर में हजारों की बैटरी को खराब कर देते हैं।
क्या बैटरी में एसिड डाल सकते हैं?
कुछ लोग बैटरी में एसिड यानी तेजाब भी डाल देते हैं। हमें तेजाब डालने की गलती भी नहीं करनी चाहिए। पहले के समय में ऐसी बैटरीयां आती थी कि उनमें एसिड डालने की जरूरत पड़ती थी। लेकिन आज बैटरी में एसिड पहले ही डला हुआ आता है, हमें सिर्फ बैटरी में पानी डालने की जरूरत पड़ती है।
बैटरी की सफाई
अब लेड एसिड बैटरी की साफ सफाई के बारे में बात की जाए, तो हमें यह भी देखना चाहिए कि बैटरी के ऊपर रेत, मिट्टी तो नहीं जम गई है। और कभी-कभी बैटरी में ज्यादा पानी डालने के कारण चार्जिंग के समय थोड़ा बहुत एसिड बैटरी के ऊपर आ जाता है, जिसके कारण भी बैटरी के ऊपर थोड़े से धब्बे पड़ जाते हैं। अगर बैटरी के ऊपर मिट्टी या धूल जम चुकी है, या एसिड आ चुका है, तो हमें बैटरी को थोड़े से गर्म पानी के साथ ऊपर से साफ कर देना चाहिए। लेकिन ध्यान रखना है कि गर्म पानी बैटरी के अंदर नहीं जाना चाहिए।
बैटरी की साफ सफाई कब करनी चाहिए।
हमें कम से कम 6 महीने या 1 साल में एक बार बैटरी को पानी से जरूर धोके साफ सफाई जरूर करनी चाहिए, और बैटरी को धोने के बाद उसे धूप में सुखाकर उसके बाद ही इनवर्टर से कनेक्ट करके इस्तेमाल करना चाहिए।
सिरीज़ बदलें।
अगर हमारे पास दो बैटरी वाला इनवर्टर सिस्टम है, तो हमें बैटरी की सफाई के साथ-साथ बैटरी की सीरीज को भी बदल देना चाहिए। जैसे बैटरी के जिन दो टर्मिनल को आपस में मिलाकर हमने बैटरी की सीरीज बनाई है, उन टर्मिनल से तार को हटाकर बाकी जो दूसरे के टर्मिनल है उन दोनों के साथ सीरीज बना देनी चाहिए।
तो उम्मीद है लेड एसिड बैटरी से जुड़ी यह जानकारी आपको पसंद आई होगी। अगर आपको पसंद आई है, तो इसको आप अपने दोस्तों के साथ शेयर कर सकते हैं। और इससे जुड़े हुए आपके कोई भी सवाल है, तो आप हमें नीचे कमेंट में भी पूछ सकते हैं।
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